कहाँ हैं मन का मीत मेरा ,
जो गुनगुनाया वोह गीत मेरा,
बचपन से प्यार था दिल में तुम्हारे लिए,
इज़हार कभी जुबां पर न आया तुम्हारे लिए|
जो गुनगुनाया वोह गीत मेरा,
बचपन से प्यार था दिल में तुम्हारे लिए,
इज़हार कभी जुबां पर न आया तुम्हारे लिए|
"MY IMAGINATION WILL GO FAR AND WIDE FROM ONE TIDE TO ANOTHER TIDE"
New Delhi |